उत्तराखंड

अनुभव प्रमाणपत्र के बिना भी कर सकेंगे 50 लाख तक के काम

सूबे सिंचाई मंत्री सतपाल महाराज का आदेश तत्काल प्रभाव से लागू

देहरादून Dehradun News। प्रदेश में सिंचाई विभाग (Irrigation Department) में 50 लाख रुपये तक के निर्माण कार्य (Construction work) अब अनुभव प्रमाणपत्र (experience certificate) के बिना भी लिए जा सकते हैं। सिंचाई मंत्री सतपाल महाराज (Satpal Maharaj) ने निविदा प्रक्रिया में अनुभव प्रमाणपत्र की अनिवार्यता को समाप्त कर दिया है। कहा कि युवाओं की सहभागिता बढ़ाने के उद्देश्य से प्रचलित निविदा प्रक्रिया में संशोधन किया गया है।

गुरुवार को सिंचाई मंत्री सतपाल महाराज ने उत्तराखंड (Uttarakhand) के बेरोजगारों (unemployed) के लिए एक बड़ा ऐलान किया। बताया कि सिंचाई विभाग में 50 लाख तक की निविदा के लिए अब अनुभव प्रमाणपत्र की अनिवार्यता नहीं रहेगी। इसमें संशोधन कर दिया गया है।

महाराज ने कहा कि सिंचाई विभाग में निविदा प्रक्रिया के तहत प्रदेश के बेरोजगारों को रोजगार (employed) मिले, उनकी ज्यादा सहभागिता हो इसके लिए प्रचलित निविदा प्रक्रिया में संशोधन (Amendment) किया गया है। इससे पारदर्शिता और प्रतिस्पर्धा सुनिश्चित होगी।

बताया कि टर्नओवर (turnover) हेतु पूर्व में निर्धारित 50 लाख तक की निविदा हेतु निविदादाता का टर्नओवर लिए जाने के प्रावधान को समाप्त कर दिया गया है। कहा कि ई-निविदा, टू-बिद सिस्टम के अनुसार 50 लाख से अधिक के कार्यों के संबंध में ही की जाएगी। यह आदेश तत्काल प्रभाव से लागू माने जाएंगे।

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