
ऋषिकेश: अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान ( Aiims ) में कॉलेज ऑफ नर्सिंग की ओर से ‘नर्सिंग शिक्षाः मापन और मूल्यांकन’ विषयक राष्ट्रीय सम्मेलन आयोजित किया गया। मुख्य अतिथि उत्तराखंड नर्सिंग काउंसिल के रजिस्ट्रार प्रो. आरके शर्मा ने कहा, सीखने की प्रणाली को संशोधित करने और सुधारने के लिए अच्छी मूल्यांकन प्रक्रिया आवश्यक है।
गुरुवार को भारतीय सामाजिक विज्ञान अनुसंधान परिषद के सहयोग से आयोजित सम्मेलन का शुभारंभ एम्स की कार्यकारी निदेशक प्रो. डॉ. मीनू सिंह और डीन एकेडमिक प्रो. जया चतुर्वेदी ने किया। मुख्य अतिथि प्रो. आरके शर्मा ने उम्मीद जताई, प्रतिभागी प्रतिनिधि विशेषज्ञों के विचारों और अनुभवों को अपने संस्थानों में क्रियान्वित करेंगें। वहीं डॉ. मीनू सिंह ने विद्यार्थियों के प्रदर्शन का सही और निष्पक्ष आंकलन पर जोर दिया।
प्रो. जया चतुर्वेदी ने OSCE, OSLER, MINI CEX और 360 डिग्री मूल्यांकन की नई तकनीकों का उदाहरण दिया। प्राचार्य कॉलेज ऑफ नर्सिंग प्रो. स्मृति अरोड़ा ने कहा कि इस विशेष कार्यक्रम से पेशे से जुड़े लोगों व छात्रों को लाभ मिलेगा। इसबीच एम्स नई दिल्ली की प्रिंसिपल प्रो. लता वेंकटेशन, एम्स भोपाल की प्रिंसिपल डॉ. ममता वर्मा, एम्स कल्याणी की प्रिंसिपल प्रो पूनम जोशी, चितकारा यूनिवर्सिटी की प्रिंसिपल प्रो. हरमीत कौर कांग, पीजीआईएमईआर चंडीगढ़ की एसोसिएट प्रो. डॉ. मंजू डंदापानी, जिपमर पुडुचेरी की सहायक प्रो. डॉ. लक्ष्मी राममूर्ति ने भी व्याख्यान दिया।
इस अवसर पर आइटम विश्लेषण, OCSE/OSPE का आयोजन, शैक्षिक उद्देश्यों व रेटिंग स्केल तैयार करना, चेकलिस्ट बनाना आदि का अभ्यास कराया गया। सम्मेलन में उत्तराखंड समेत देश के नर्सिंग कॉलेजों से 50 से अधिक फैकल्टी, प्रतिनिधियों और एमएससी नर्सिंग छात्रों ने प्रतिभाग किया। कार्यक्रम में नर्सिंग कॉलेज की सहायक प्रो. सुश्री रुचिका रानी भी मौजूद रही।