पहलः अब गढ़वाल भी हवाई कनेक्टिविटी से जुड़ा
देहरादून से टिहरी-श्रीनगर-गोचर के लिए हेली सेवा शुरू

देहरादून। पर्वतीय क्षेत्रों में हवाई कनेक्टिविटी बढ़ाने के मुख्यमंत्री के संकल्प को नई गति मिल गई है। कुमाऊ के बाद अब गढ़वाल मंडल में भी पहली बार नियमित हेली सेवा की शुरुआत हो गई है। शनिवार को जौलीग्रांट एयरपोर्ट से देहरादून को टिहरी, श्रीनगर और गोचर से जोड़ने वाली 6-सीटर हेली सेवा का शुभारंभ किया गया।
नई रीजनल कनेक्टिविटी स्कीम (उड़ान) के तहत शुरू हुई यह सेवा रोजाना दो उड़ानें संचालित करेगी। पहली हेली सेवा सुबह 10.15 बजे जौलीग्रांट एयरपोर्ट से उड़ान भरेगी और टिहरी के कोटी कॉलोनी हेलीपैड, श्रीनगर व गोचर होते हुए 11 बजे वापस देहरादून लौटेगी। दूसरी उड़ान दोपहर 2.30 बजे संचालित की जाएगी।
इन सेवाओं का किराया भी यात्रियों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए निर्धारित किए गए हैं। जौलीग्रांट से टिहरी तक का किराया ₹2000 प्रति यात्री, टिहरी से श्रीनगर तक ₹1000 और श्रीनगर से गोचर तक ₹1000 प्रति व्यक्ति रखा गया है। पहले दिन देहरादून से गोचर जाने वाली उड़ान में 3 यात्री सवार हुए, जबकि दूसरी उड़ान में 5 यात्रियों ने टिहरी और गोचर के लिए सफर किया।
यात्रियों ने सेवा को अत्यंत सुविधाजनक बताते हुए कहा कि इससे यात्रा समय में भारी कमी आएगी, पर्यटन को नई ऊर्जा मिलेगी और स्थानीय लोगों को तेज व सुरक्षित परिवहन उपलब्ध होगा। देहरादून से गोपेश्वर की ओर जा रहे विकास चौहान ने कहा कि मुख्यमंत्री धामी की पहल सराहनीय है, क्योंकि यह सेवा आपातकालीन स्थितियों में भी बेहद मददगार साबित होगी।
राज्य सरकार का मानना है कि इस सेवा से पहाड़ी क्षेत्रों में आवागमन सरल होने के साथ रोजगार, पर्यटन और आपदा प्रबंधन क्षमताओं में भी महत्वपूर्ण सुधार होगा। इससे पहले भी सरकार ने दून-नैनीताल, बागेश्वर और हल्द्वानी से चंपावत, पिथौरागढ़, मुनस्यारी और अल्मोड़ा तक हवाई कनेक्टिविटी स्थापित की है। नई हेली सेवा पर्वतीय चुनौतियों को सरल बनाने की दिशा में एक और महत्वपूर्ण कदम है।



