देशरुद्रप्रयाग

भैया दूज के पर्व पर केदारनाथ के कपाट हुए बंद

कपाटबंदी के अवसर पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी भी रहे मौजूद

• भव्य पुष्प सज्जा, सेना बैंड की भक्ति धुनों और जयघोष से गूंज उठा धाम
• 10 हजार से अधिक श्रद्धालुओं ने देखा कपाट बंद होने का दृश्य

केदारनाथ (रुद्रप्रयाग)। विश्व प्रसिद्ध ग्यारहवें ज्योतिर्लिंग भगवान केदारनाथ धाम के कपाट आज गुरुवार को भैयादूज के पावन अवसर पर प्रातः 8 बजकर 30 मिनट पर विधिवत रूप से बंद कर दिए गए। इस पावन अवसर पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी भी धाम में उपस्थित रहे।

कपाट बंद होने के अवसर पर मंदिर परिसर को स्थानीय पुष्पों से भव्य रूप से सजाया गया, वहीं सेना के बैंड द्वारा बजाई गई भक्ति धुनों और “जय बाबा केदार“ के जयघोष से पूरा वातावरण भक्तिमय हो उठा। ठंडे मौसम के बावजूद करीब 10 हजार से अधिक श्रद्धालु इस ऐतिहासिक क्षण के साक्षी बने।

पूजन-अर्चना के बाद बंद हुए कपाट
कपाट बंद करने की प्रक्रिया ब्रह्ममुहूर्त में यज्ञ, हवन और समाधि पूजन के साथ आरंभ हुई। मुख्य पुजारी बागेश लिंग और आचार्यगणों ने भगवान केदारनाथ के स्वयंभू शिवलिंग को कुर्मजा, बुकला, राख, ब्रह्मकमल और अन्य स्थानीय पुष्प-पत्रों से ढककर समाधि रूप दिया। तत्पश्चात गर्भगृह के द्वार शीतकाल हेतु बंद कर दिए गए।

मुख्यमंत्री की उपस्थिति में मंदिर के पूर्वी और दक्षिणी द्वार भी विधिवत रूप से बंद किए गए। इसके बाद भगवान केदारनाथ की पंचमुखी उत्सव डोली की परिक्रमा कर उसे प्रथम पड़ाव रामपुर के लिए रवाना किया गया। श्रद्धालुओं ने “हर हर महादेव” और “जय बाबा केदार” के उद्घोषों के साथ डोली को विदाई दी।

मुख्यमंत्री ने दी शुभकामनाएं
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने देश-विदेश से आए श्रद्धालुओं को शुभकामनाएं देते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विजन के अनुरूप केदारपुरी का भव्य पुनर्निर्माण हुआ है। उन्होंने बताया कि वर्ष 2025 में चारधाम यात्रा के अंतर्गत 50 लाख से अधिक श्रद्धालुओं ने दर्शन किए, जो अब तक का रिकॉर्ड है। मुख्यमंत्री ने कहा कि शीतकालीन यात्रा को भी सरकार प्रोत्साहित कर रही है, ताकि श्रद्धालु चार धामों के गद्दी स्थलों में भी पूजा-अर्चना कर सकें। इससे स्थानीय व्यापारियों, होम स्टे संचालकों और होटल व्यवसायियों को भी रोज़गार मिलेगा।

इस वर्ष 17.68 लाख श्रद्धालुओं ने किए दर्शन
मुख्यमंत्री ने बताया कि इस वर्ष 17,68,795 श्रद्धालुओं ने बाबा केदार के दर्शन किए, जो पिछले वर्ष 2024 के 16,52,076 यात्रियों से लगभग सवा लाख अधिक हैं। उन्होंने यात्रा संचालन से जुड़े सभी विभागों, सुरक्षा बलों, मंदिर समिति, स्थानीय नागरिकों एवं स्वयंसेवी संस्थाओं का आभार व्यक्त किया और इस वर्ष की यात्रा को सफल व सुरक्षित बताया।

डोली यात्रा का शीतकालीन प्रवास
कपाट बंद होने के पश्चात बाबा केदार की पंचमुखी उत्सव डोली आज प्रथम पड़ाव रामपुर में रात्रि विश्राम करेगी। कल शुक्रवार, 24 अक्टूबर को डोली गुप्तकाशी स्थित विश्वनाथ मंदिर पहुंचेगी, जहां से शनिवार, 25 अक्टूबर को शीतकालीन गद्दीस्थल ऊखीमठ स्थित ओंकारेश्वर मंदिर के लिए प्रस्थान करेगी।

इन हस्तियों की रही उपस्थिति
कपाट बंद समारोह में विधायक आशा नौटियाल, जिला पंचायत अध्यक्ष पूनम कठैत, बीकेटीसी अध्यक्ष हेमंत द्विवेदी, भाजपा जिलाध्यक्ष भारत भूषण भट्ट, कृषि विपणन बोर्ड अध्यक्ष अनिल डब्बू, बीकेटीसी उपाध्यक्ष ऋषि प्रसाद सती, जिलाधिकारी प्रतीक जैन, पुलिस अधीक्षक अक्षय प्रह्लाद कोंडे समेत कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।

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